देहरादून में रक्तदान शिविर में 240 यूनिट रक्त हुआ एकत्रित, 51 व्यक्तियों को दिया “स्वास्थ्य सम्मान”
240 units of blood collected in blood donation camp in Dehradun, "Health Award" given to 51 people

देहरादून ( रजनीश प्रताप सिंह तेज ) : सामाजिक संगठन विचार एक नई सोच और पीआरएसआई देहरादून चैप्टर सहित 9 अन्य संस्थाओं के सहयोग से रविवार 30 जून को स्वैच्छिक रक्तदान शिविर का आयोजन किया गया।
शिविर में 240 यूनिट रक्त एकत्रित किया गया।
शिविर में एकत्रित रक्त यूनिट को दून मेडिकल कालेज को दिया गया। इस मौके पर स्वास्थ्य के क्षेत्र में कार्य करने वाले 51 व्यक्तियों को सम्मानित किया गया। जिनमें स्वास्थ्यकर्मी, पत्रकार व समाजसेवी शामिल थे।
रक्तदान शिविर का आयोजन हरिद्वार बाइपास रोड पर स्थित अमोलाज रेस्तरां परिसर में आयोजित किया गया।
संगठन के सचिव राकेश बिजल्वाण ने कहा कि शिविर को लेकर रक्तदाताओं में भारी उत्साह दिखा। कई युवाओं ने पहली बार रक्तदान किया। उन्होंने कहा कि शिविर में एकत्रित रक्त को दून मेडिकल कालेज को दिया जाएगा।
रक्तदान शिविर के उद्घाटन अवसर पर मुख्य अतिथि भाजपा के वरिष्ठ नेता और समाजसेवी श्याम अग्रवाल ने शिविर आयोजन में सहयोगी संस्थाओं की भी सराहना की।
उन्होंने कहा कि प्रदेश के अस्पतालों मे रक्त की अक्सर कमी महसूस होती है। यदि समय पर मरीज को रक्त मिल जाएं तो उसकी जान बच जाती है। उनके अनुसार संगठन द्वारा आयोजित इस शिविर से एकत्रित रक्त से कई मरीजों की जान बच जाएगी।
बदरीनाथ केदारनाथ मंदिर समिति के अध्यक्ष अजेंद्र अजय ने कहा कि रक्तदान महादान है।
एक स्वस्थ व्यक्ति यदि रक्तदान करता है तो वह किसी के जीवन को बचा सकता है। उन्होंने कहा कि रक्तदान को लेकर समाज में जागरूकता की जरूरत है। इस तरह के शिविरों का आयोजन होने से अस्पतालों में मरीजों को ब्लड की जरूरत पूरी हो सकती है।
दून मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य डा. आशुतोष सयाना ने कहा कि यह रक्त अस्पताल में जरूरतमंद मरीजों के साथ ही गरीब मरीजों को निशुल्क उपलब्ध कराया जाएगा। उन्होंने विचार एक नई सोच संगठन के इस प्रयास की सराहना की और कहा कि समाज के अन्य संगठनों को भी रक्तदान शिविर आयोजित करने चाहिए।
टिहरी के विधायक किशोर उपाध्याय ने कहा कि रक्तदान को लेकर जनजागरूकता जरूरी है। रक्तदान को लेकर यह भ्रम है कि इससे शरीर में कमजोरी आती है, लेकिन यह सच नहीं है। रक्तदान से शरीर में रक्तप्रवाह सुधरता है और हृदयाघात और हृदयरोग की संभावना भी कम होती है।
दून नगर निगम की निर्वतमान पार्षद सुमित्रा ध्यानी ने संगठन के प्रयास की सराहना की। उन्होंने कहा कि कोरोना काल के दौरान लोगों को स्वस्थ जीवन मूल्यो का एहसास हुआ है। उन्होंने कहा कि यह अच्छी बात है कि कई महिलाएं भी अब रक्तदान करती हैं।
उन्होंने कहा कि आज भी अस्पतालों में रक्त की भारी कमी है। यदि मरीज को समय पर रक्त उपलब्ध हो जाए तो उसकी जान बचाई जा सकती है। उन्होंने लोगों से अपील की है कि जीवन में एक बार रक्तदान जरूर करें।
शिविर की सहयोगी संस्था पीआरएसआई देहरादून चैप्टर के अध्यक्ष रवि बिजारनिया ने कहा कि रक्तदान महादान है। एक यूनिट रक्त से तीन लोगों की जान बचाई जा सकती है। उन्होंने कहा कि उनका चैप्टर प्रतिवर्ष इसी तरह जरूरतमंदों के लिए रक्तदान शिविर का आयोजन करेगा।
सीआईएमएस एंड यूआईएचएमटी ग्रुप ऑफ कॉलेज के चेयरमैन एडवोकेट ललित मोहन जोशी ने कहा प्रत्येक स्वस्थ्य व्यक्ति को रक्तदान जरूर करना चाहिए।
उन्होंने कहा वह हर साल रक्तदान करते हैं। उन्होंने अपील की है कि 18 से 65 वर्ष तक आयु वर्ग का कोई भी स्वस्थ व्यक्ति रक्तदान कर सकता है।
इस मौके पर भाजपा नेता जोगेंद्र पुंडीर ने भी रक्तदान करने के साथ ही लोगों को भी रक्तदान के लिए प्रेरित किया।
इस मौके पर कलर्ड चैकर्स फिल्मस एंड इंटरटेेंटमेंट के निदेशक वैभव गोयल के नेतृत्व में पूरी टीम ने रक्तदान किया और सभी से उत्तराखंडी व्यंजनों पर बनी फिल्म ‘मीठी, मां कु आशीर्वाद‘ के लिए समर्थन मांगा।
विचार एक नई सोच सामाजिक संगठन के संरक्षक डॉ एसडी जोशी ने कहा कि महिला का 12.5 और पुरुषों में 13.5 हीमोग्लोबिन है तो वो रक्तदान कर सकते हैं। इस मौके पर सभी 11 संस्थाओं के पदाधिकारी और सदस्य मौजूद थे।