( हेल्थ ) “सर्वाइकल कैंसर” में उत्तराखंड “हाई रिस्क जोन” में,हिमालयन हॉस्पिटल ने डोईवाला में लगाया जाँच और जागरूकता कैंप

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देहरादून : विश्व महिला दिवस के उपलक्ष्य में हिमालयन हाॅस्पिटल जौलीग्रांट
की ओर से सीएचसी डोईवाला में गर्भाशय के मुख का कैंसर
और स्तन कैंसर से संबंधित जागरूकता
व निश्शुल्क जांच शिविर का आयोजन किया गया।
शिविर में 55 महिलाओं के स्वास्थ्य की जांच की गयी।शनिवार को सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र डोईवाला में आयोजित
निशुल्क सर्वाइकल एवं स्तन कैंसर जांच शिविर में हिमालयन हॉस्पिटल की
प्रसूति एवं स्त्री रोग की विभागाध्यक्ष डॉ.रुचिरा नौटियाल ने बताया कि
सर्वाइकल कैंसर के संबंध में उत्तराखंड हाई रिस्क जोन में आता है।
महिलाओं में जब तक इस बीमारी के लक्षण दिखाई देते हैं
तब तक यह तीसरी स्टेज में पहुंच जाती है।
उन्होंने कहा कि 40 की उम्र से पहले
महिलाओं को सर्वाइकल स्क्रीनिंग जरूर करानी चाहिए।
कहा कि शादी के बाद महिलाओं को हर
तीन साल के अंतराल पर सर्वाइकल जांच करानी चाहिए।
कार्यक्रम में पोस्टर प्रदर्शनी के माध्यम से महिलाओं को
स्तन कैंसर और गर्भाशय के मुख के कैंसर के लक्ष्ण,
जोखिम व इनसे बचाव की जानकारी दी गयी।
शिविर में 55 महिलाओं की जांच की गयी।
जिसमें से 35 महिलाओं की पैप स्मियर जांच भी की गयी।
डाॅ. चंद्रा पंत, डाॅ. देवनंदा चैधरी, डाॅ. प्रनती दास, डाॅ. रश्मि राजपूत,
डाॅ. हिना, डाॅ. स्वाति ने भी महिलाओं को जानकारी दी।
क्या है सर्वाइकल कैंसर
गर्भाशय के निचले हिस्से को सर्विक्स कहते हैं।
साधारण भाषा में इसे बच्चेदानी का मुंह भी कहते हैं।
भारत में सर्विक्स कैंसर का खतरा सबसे अधिक पाया जाता है और इसके उपरांत आता है स्तन कैंसर।
इसके लक्षण पेट के निचले हिस्से में दर्द रहना, सफेद गंदा पानी आना,
अनियमित महावारी, यौन संबंध बनाते समय
अथवा यौन संबंध बनाने के उपरांत रक्तस्त्राव होना है।