
• पूर्व ग्राम प्रधान रामकिशन ने उठाया बंदोबस्त का मुद्दा
• 1995-2000 के निरस्त बंदोबस्त पर भूमि क्रय-विक्रय
• लोगों के खसरा नंबर हो रखे हैं इधर से उधर
• आवंटित पट्टों कर ग्राम समाज जमीन पर भूमाफिया की नजर
Dehradun : राजस्व ग्राम भानियावाला में चल रहे बंदोबस्त को पूरा करने के लिए लगाई सांसद निशंक से गुहार
भारतीय जनता पार्टी अनुसूचित मोर्चा के जिला अध्यक्ष रामकिशन ने एक ज्ञापन सौंपते हुए
हरिद्वार सांसद और पूर्व मुख्यमंत्री डॉ रमेश पोखरियाल निशंक से
राजस्व ग्राम भानियावाला में चल रहे बंदोबस्त को पूर्ण करने की गुहार लगाई है
डॉक्टर निशंक को आज सौंप गए ज्ञापन में कहा गया है कि
राजस्व ग्राम भानियावाला में 1938 राजस्व ग्राम भानियावाला के मानचित्र के बाद 1995 में एक बंदोबस्त शुरू किया गया था
जो साल 2000 में पूरा हो गया था
लेकिन इस बंदोबस्त के मानचित्र में कई प्रकार की त्रुटियां होने के कारण
ग्राम वासियों की आपत्तियों के चलते
बंदोबस्त मानचित्र 1995 से 2000 तक शासन द्वारा निरस्त कर दिया गया था
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रजनीश प्रताप सिंह तेज
लेकिन अचंभे की बात है कि जो मानचित्र भनियावाला का निरस्त किया गया था
आज इस मानचित्र पर राजस्व ग्राम भानियावाला की भूमि क्रय विक्रय हो रही है
जिसमें भानियावाला के मानचित्र में लोगों के खसरा नंबर इधर-उधर हो रखे हैं
जिसके चलते ग्रामवासियों में विवाद हो रहे हैं
पूर्व प्रधान रामकिशन ने बताया कि इस विषय को लेकर कईं बार स्थानीय प्रशासन को समस्या से अवगत कराया गया है
लेकिन अभी तक ग्रामवासियों की समस्या का समाधान नहीं निकल गया है
भाजपा नेता रामकिशन ने आशंका व्यक्त की है कि अगर ऐसा ही चलता रहा तो
राजस्व ग्राम भानियावाला के गरीब अनुसूचित जाति व अनुसूचित जनजाति व
अन्य वर्ग के लोगों को सरकार द्वारा जो पट्टे आवंटित किए गए हैं तथा जो ग्राम समाज की जमीन है उसे भू माफिया बेच देंगे
उन्होंने बताया कि राजस्व ग्राम भानियावाला में 2001 से लेकर अब तक बंदोबस्त प्रक्रिया में है
इस बंदोबस्त की अधिकांश खतौनी पर्ची भी बंट चुकी है
राजस्व ग्राम भानियावाला का मानचित्र लगभग 95% पूर्ण हो चुका है
ग्राम वासी चाहते हैं कि मानचित्र में कुछ त्रुटियां हैं
इन त्रुटियों को दूर करके 2001 के बाद का राजस्व ग्राम भानियावाला का मानचित्र लागू किया जाए